लोकगीत आहो कौन महीना में – नीरज दिसौरिया BUNDELI LOKGEET

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नीरज दिसोरिया😂😂- चैत मांस में मुंदरी दे गए , 
लिखो है नाम नंगीना में, आंहो कौन महीना में, 
चैत मांस में मुंदरी दे गए, लिखों नाम नंगीना में , 
आंहो कौन महीना में 🥰🥰 |

😜 निकरे जेठ लगे बैशाख, वन वन फूलन लगे पलाश
निकरे जेठ लगे बैशाख, वन वन फूलन लगे पलाश
विश दे गए दे के विश्वास🤔🤔
आवन के गए आजऊं न आए ,
सो चलत कटारी सीना में 
आंहो कौन महीना में😭😭 ||

चैत मांस में मुंदरी दे गए, 
 लिखों है नाम नंगीना में, 
आंहो कौन महीना में,, 

तपे जेठ अषढा़गन गोरे, सावन वन वन बोले मोरे, 
तपे जेठ अषढा़गन गोरे, सावन वन वन बोले मोरे,, 
कुआर मांस तुम जाबे हिमालय, 
 सो बिन बिन कभऊं नगीना में, 
आंहो कौन महीना में,, ||

चैत मांस में मुंदरी दे गए लिखों है नाम नंगीना में , 
आंहो कौन महीना में🥰🥰🥰 |
चैत मांस में मुंदरी दे गए, लिखों है नाम नंगीना में, 
आंहो कौन महीना में |😇😇😇


                            😂😂नेहा दिसोरिया
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